नई दिल्ली: जब देश में बेईमान या कमजोर चौकीदार होता है तो देश के घोटालेबाजों की जब मर्जी होती है खजाने पर हाथ डाल देते हैं, कुछ पैसा चौकीदार को खिलाते हैं और खजाने पर हाथ साफ़ कर देते हैं लेकिन जब देश में मजबूत और इमानदार चौकीदार होता है तो बेईमानों के घोटाले भी खुलते हैं और बेईमान पकडे भी जाते हैं. यही हमारे भारत में भी हो रहा है.
कांग्रेस के 10 साल में बेईमानों ने देश को खूब लूटा, विजय माल्या, नीरव मोदी जैसे लुटेरों को जब मर्जी बैंकों से लोन मिल जाता था और ये डकार मारकर बैठ जाते थे, लेकिन अब ना तो इन्हें लोन मिल रहा है, उलटा ये पकडे भी जा रहे हैं, अगर मोदी भी बेईमान चौकीदार होते तो विजय माल्या और नीरव मोदी को उनका मनचाहा लोन दे देते और वे चुपचाप खाते रहते लेकिन मोदी सरकार में ऐसा नहीं हुआ, इनके खिलाफ उन बैंकों ने ही FIR लिखवा दी जिन्होंने इन्हें लोन दिया था, बैंकों को पता था कि अगर हमने इन्हें लोन दिया तो हमारी भी नौकरी जाएगी.
नीरव मोदी ने भारतीय बैंकों को मनमर्जी लूटा था लेकिन मोदी सरकार में वह देश को लूट नहीं सका, उसके घोटाले का खुलासा हुआ, CBI ने छापे मारकर उसका लूटा हुआ माल जब्त कर लिया, पहले ही दिन 5100 करोड़ रुपये का माल छीना गया, उसके बाद धीरे धीरे उसके सभी शोरूम, सभी हीरे जवाहरात, सभी मंहगी मांगी गाड़ियाँ, सभी प्रॉपर्टी, बंगला और आलीशान दफ्तर छीन लिए, उसका करीब 8000 करोड़ रुपये का माल छीन लिया गया.
कांग्रेस के 10 साल में बेईमानों ने देश को खूब लूटा, विजय माल्या, नीरव मोदी जैसे लुटेरों को जब मर्जी बैंकों से लोन मिल जाता था और ये डकार मारकर बैठ जाते थे, लेकिन अब ना तो इन्हें लोन मिल रहा है, उलटा ये पकडे भी जा रहे हैं, अगर मोदी भी बेईमान चौकीदार होते तो विजय माल्या और नीरव मोदी को उनका मनचाहा लोन दे देते और वे चुपचाप खाते रहते लेकिन मोदी सरकार में ऐसा नहीं हुआ, इनके खिलाफ उन बैंकों ने ही FIR लिखवा दी जिन्होंने इन्हें लोन दिया था, बैंकों को पता था कि अगर हमने इन्हें लोन दिया तो हमारी भी नौकरी जाएगी.
नीरव मोदी ने भारतीय बैंकों को मनमर्जी लूटा था लेकिन मोदी सरकार में वह देश को लूट नहीं सका, उसके घोटाले का खुलासा हुआ, CBI ने छापे मारकर उसका लूटा हुआ माल जब्त कर लिया, पहले ही दिन 5100 करोड़ रुपये का माल छीना गया, उसके बाद धीरे धीरे उसके सभी शोरूम, सभी हीरे जवाहरात, सभी मंहगी मांगी गाड़ियाँ, सभी प्रॉपर्टी, बंगला और आलीशान दफ्तर छीन लिए, उसका करीब 8000 करोड़ रुपये का माल छीन लिया गया.
अब नीरव मोदी ने अमेरिका से खुद को दिवालिया घोषित करने की गुहार लगाई है, उसका कहना है कि भारत में उसका सब कुछ छीन लिया गया, सभी कारोबार ठप्प कर दिया गया है, सभी शो रूम पर ताले लगा दिए गए, सभी बैंक खाते सीज कर दिए गए, मैं उन्हीं सब से लोन चुका सकता था लेकिन अब मेरे पास कुछ बचा ही नहीं है, इसलिए मुझे दिवालिया घोषित किया जाय.
अब आप सोचिये, अगर देश के मोदी की सरकार ना होगी और पूर्व कांग्रेस सरकार होती तो नीरव मोदी को लोन मिलना जारी रहता और वह देश को लूटता रहता लेकिन मोदी सरकार ने ना तो उसे लोन दिया, उसके घोटाले का पर्दाफाश करके लूटा हुआ माल छीनकर उसे दिवालिया बना दिया.
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