वोटर आईडी कार्ड को आधार कार्ड से जोड़ने वाला बिल लोकसभा में आज पास हो गया, विपक्ष ने इस बिल का जमकर विरोध किया, लेकिन पास होने से नहीं रोक पाई, कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने विपक्षी सांसदों के विरोध को खारिज करते हुए कहा कि यह संशोधन केवल फर्जी और फर्जी मतदान को रोकने के लिए था। इससे नागरिकों के मौलिक अधिकारों का उल्लंघन नहीं होगा।
आपको बता दें कि चुनाव सुधार से संबंधित बिल यानि निर्वाचन विधि (संशोधन) विधेयक, 2021 को लोकसभा से मंजूरी मिल गई है. इस बिल में वोटर कार्ड को आधार कार्ड से जोड़ने का प्रावधान किया गया है. कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, एआईएमआईएम, आरएसपी, बसपा जैसे दलों ने इस विधेयक को पेश किये जाने का विरोध किया.
एआईएमआईएम के असदुद्दीन औवैसी ने कहा कि यह संविधान प्रदत्त मौलिक अधिकारों एवं निजता के अधिकार का उल्लंघन करता है . यह विधेयक गुप्त मतदान के प्रावधान के भी खिलाफ है. इसलिये हम इसे पेश किये जाने का विरोध करते हैं, शशि थरूर ने कहा कि आधार को केवल आवास के प्रमाण के रूप में स्वीकार किया जा सकता है, नागरिकता के प्रमाण के रूप में नहीं . ऐसे में इसे मतदाता सूची से जोड़ना गलत है. हम इसका विरोध करते हैं.
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को चुनाव सुधारों से जुड़े इस विधेयक के मसौदे को अपनी मंजूरी दी थी. इस विधेयक के मसौदे में कहा गया है कि मतदाता सूची में दोहराव और फर्जी मतदान रोकने के लिए मतदाता कार्ड और सूची को आधार कार्ड से जोड़ा जाएगा.
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