लखनऊ, 12 मार्च: मायावती कह रही हैं कि जहाँ पर मुस्लिम अधिक हैं वहां पर बीजेपी की जीत कैसे हो सकती है और मुस्लिम लोग बीजेपी को वोट कैसे दे सकते हैं, मायावती की बात 16 आने सच है कि मुस्लिम आदमी बीजेपी को बहुत कम वोट देते हैं लेकिन मुस्लिम महिलाओं पर यह बात लागू नहीं होती है क्योंकि इस बार मुस्लिम महिलाओं ने बीजेपी को वोट दिया है और जमकर दिया है इसी का नतीजा है कि देवबंद के मुस्लिम बहुल क्षेत्र में भी बीजेपी की जीत हुई है।
बीजेपी और मोदी जानते थे कि मुस्लिम लोग उन्हें वोट नहीं देंगे इसलिए उन्होंने मुस्लिम महिलाओं को अपने पक्ष में करने के लिए खुलेआम तीन तलाक का विरोध किया, मोदी ने मुस्लिम महिलाओं को अपनी बहन बताते हुए कहा कि तीन तलाक की वजह से उनकी बहनों की जिन्दगी बर्बाद हो जाती है इसलिए वे तीन तलाक का विरोध करते हैं और बहस के द्वारा इस समस्या का समाधान चाहते हैं, बीजेपी ने सुप्रीम कोर्ट के सामने भी यही बात रखी।
मोदी जानते थे कि अगर तीन तलाक का विरोध करेंगे तो मुस्लिम महिलायें उनका समर्थन करेगी और चुनावों में वोट भी देंगी क्योंकि 90 फ़ीसदी मुस्लिम महिलाएं तीन तलाक को समाप्त करना चाहती हैं और 99 फ़ीसदी मुस्लिम पुरुष तीन तलाक को लागू रखना चाहते हैं ताकि वे अपनी बीवियों को तलाक तालक तलाक़ बोलकर दूसरी शादी कर सकें।
जब मोदी ने तीन तलाक का विरोध किया तो मुस्लिम महिलाओं ने भी शायद ठान किया कि अबकी बार कमल का ही बटन दबाना है और भैया मोदी को ही जिताना है भले ही अपने अपने पतियों से झूठ बोलना पड़े।
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