बिहार में गंडक बांध से साढे चार लाख क्यूसिक पानी छोडे जाने से बाढ की स्थिति बिगड गयी है। नेपाल से बिहार में पानी छोडने के लिए बांध के सभी छत्तीस गेट खोल दिये गये हैं। गंडक नदी का जल स्तर लगातार बढ रहा है। इसके मद्देनजर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आपदा प्रबंधन विभाग और संबधित जिलों के अधिकारियों को सतर्क रहने को कहा है।
राज्य सरकार ने पांच जिलों-सारण, सिवान, गोपालगंज, पूर्वी चंपारण और पश्चिमी चंपारण के जिला अधिकारियों को निचले स्थानों पर रह रहे लोगों को ऊपरी इलाकों और सुरक्षित जगहों पर ले जाने के निर्देश दिये हैं। राष्ट्रीय आपदा मोचनबल और राज्य आपदा मोचन बल की टीमें भी राहत और बचाव के लिए तैनात की गयी है।
नेपाल और उत्तरी बिहार के मौदानी इलाकों के जल ग्रहण क्षेत्र में पिछले 24 घंटों से हो रही बारिश से बागमती, कमलाबलान और अधवारा समूह की नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।
मौसम विभाग ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में मूसलाधार वर्षा का रेड अलर्ट जारी किया है। 156 पंचायतों के तीन लाख से अधिक लोग बाढ से प्रभावित हैं। 15 हजार से अधिक लोगों को निकाला गया है और वे राहत शिविरों में रह रहे हैं।
कंटेनमेंट जोन में रहने वाले बाढ प्रभावित लोगों के लिए अगल से शिविर स्थापित करने के निर्देश दिये गये हैं। इन लोगों को अन्य बाढ प्रभावित लोगों से अलग रखा जायेगा। बाढ प्रभावित कंटेनमेंट जोन में रहने वाले लोगों के लिए मास्क और दस्ताने पहनना अनिवार्य होगा।