Pratapgarh: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए सबसे बड़ा खतरा उनके ही नौकरशाह हैं, उत्तर प्रदेश में अभी भी करीब 80 फ़ीसदी अधिकारियों को भ्रष्टाचार की अदात है, खा खा कर इन लोगों को इतनी चर्बी चढ़ गयी है कि आसानी से उनकी अदात जाने वाली नहीं है.
आप खुद सोचिये, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी जिलाधिकारियों को आदेश दे रखा है कि सुबह 9 बजे से शाम 6 बजे तक अपने दफ्तर में अपनी कुर्सी पर मौजूद रहें, वे किसी भी वक्त उन्हें फोन कर सकते हैं, लेकिन अभी भी कई जिलाधिकारी पुराने जमाने में ही जी रहे हैं और उन्हीं में से एक हैं प्रतापगढ़ के जिलाधिकारी शरद कुमार सिंह.
शरद कुमार सिंह खुलेआम मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के आदेश का उल्लंघन कर रहे हैं, ये सिर्फ 2 घंटे ऑफिस में बैठते हैं, जनता से सिर्फ दो घंटे मिलते हैं, उसके बाद अपने आवास पर आराम फरमाते हैं. लगता है कि या तो इनके सर पर किसी बड़े नेता का हाथ है या इन्हें किसी का डर नहीं है तभी तो ये योगी के आदेश का उल्लंघन कर रहे हैं.
इनकी दबंगई देखिये, इन्होने अपने ऑफिस के बाहर भी लिख रखा है कि ये सिर्फ दो घंटे जनता से मिलेंगे, सिर्फ 9-11 बजे तक ही ऑफिस में रहेंगे, सिर्फ दो घंटे में ये इतने थक जाते हैं कि अपने आवास पर विश्राम करते हैं. वाह DM थी, बहुत बढ़िया. तभी तो प्रतापगढ़ जिले की ये हालत है, जब ऐसे अधिकारियों के जिम्मे पर जिला कर दिया जाएगा तो यही हाल होगा, हर जगह लूट हो रही है, हर जगह भ्रष्टाचार हो रहा है, कभी कभी तो इनके दफ्तर के ही कर्मचारी खुलेआम घूस मांगते हैं.
कल एक पीड़ित धर्मेन्द्र कुमार पाण्डेय गैस एजेंसी के खिलाफ गैस चोरी की शिकायत लेकर आये तो DM अपनी सीट से गायब थे और अपने आपास पर आराम फरमा रहे थे, पीड़ित ने अपनी शिकायत दफ्तर में जमा करा दी तो कर्मचारी ने कहा कि अगर साहब को मौका मिलेगा तो देखेंगे, अगर घूस दे दो तो जल्दी काम हो जाएगा, पीड़ित ने घूस नहीं दिया और गैस चोरी का शिकायत पत्र वहीँ छोड़ दिया, अब देखना है कि गैस एजेंसी के खिलाफ एक्शन होता है या नहीं.
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