New Delhi, 4 December: बाबा रामदेव का आज सोशल मीडिया पर बहुत विरोध हुआ, कल तक बाबा रामदेव के लिए सोशल मीडिया पर हजारों लाखों लोग लड़ने को तैयार हो जाते थे, उनके लिए मरने को तैयार हो जाते थे लेकिन आज उन्हें बुरा भला कहते दिखे। उसका कारण यह है कि अब तक लोग बाबा रामदेव को बहुत ही ईमानदार और चमत्कारी बाबा समझते थे, ऐसे बाब जिन्होंने भारत में योगा को एक आन्दोलन बना दिया।
बाबा रामदेव ने आज से कई वर्ष पहले कालेधन के खिलाफ एक बहुत बड़ा आन्दोलन किया था, हजारों लोगों को कालेधन के खिलाफ जागरूक किया था, पूरे देश का दौरा किया था, उन्होंने लोगों को ऐसा जागृत किया कि ईमानदार देशवासी कालेधन रखने वाले लोगों को देश का दुश्मन समझने लगे।
भारत में लालू यादव को कालेधन का जनक माना जाता है, उन्होंने सबसे पहले चारा घोटाला किया और हजारों करोड़ का कालाधन जमा किया, उनके ऊपर केस चला, उन्हें जेल हुई और किसी तरह से उन्हें जमानत मिल पायी। जिस लालू को भारत के लोग कालेधन का जनक मानते थे उसी लालू को बाब रामदेव ने भारतीय राजनीति का धरोहर बता दिया। यह अपने आप में चौंकाने वाला बयान था, बाबा ने कहा कि लालू जी इस देश की राजनीतिक धरोहर हैं, लालू जैसे नेताओं को इस देश की जरूरत है, अभी इन्हें देश के लिए बहुत कुछ करना है, मै इनकी लम्बी आयु के लिए प्रार्थना करने और इन्हें स्वस्थ रहने के तरीके सिखाने आया हूँ।
अब आप ही बताइये, बाबा रामदेव ने कालेधन पर आन्दोलन किया, लोगों को जागरूक बनाया, देश के लोग लालू यादव को कालेधन का सबसे बड़ा चोर बताते हैं और उन्हीं लालू यादव को बाबा रामदेव भारत का धरोहर बताते हैं। अब आप ही बताओ, बाबा रामदेव का आन्दोलन किस काम का रहा, वे तो कालेधन के सबसे बड़े चोर को भारत का धरोहर बता रहे हैं। क्या वे चाहते हैं कि ये धरोहर भारत में और घोटाले करे और इसके लिए लंबा जीवन जिये।
आज तो बाबा रामदेव ने एक और चौंकाने वाला बयान दे दिया और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को इमानदार और भविष्य की प्रधानमंत्री बता दिया। नोटबंदी और कालेधन के खिलाफ कार्यवाही का सबसे अधिक विरोध ममता बनर्जी ही कर रही हैं। उन्होंने तो यहाँ तक कह दिया है कि मोदी को भारत की राजनीति से मिटाकर ही दम लूंगी। मरने-मारने और दंगा कराने पर उतर आयी हैं ममता बनर्जी। यही नहीं भारतीय सेना जो हमारी रक्षा करती है, ममता बनर्जी ने उसका भी अपमान कर दिया।
उन्हीं ममता बनर्जी के बारे में आज बाबा रामदेव ने कहा कि 'ममता जी में प्रधानमंत्री बनने के लिए उनके पास पर्याप्त गुण हैं, अगर एक चाय वाले का बेटा प्रधानमंत्री बन सकता है तो ममता जी भी प्रधानमंत्री बन सकती हैं.’उन्होंने कहा, ‘राजनीति में, ममता जी ईमानदारी और सादगी की प्रतीक हैं। मुझे उनकी सादगी अच्छी लगती है। वह चप्पल और साधारण साड़िया पहनती हैं। मैं मानता हूं कि उनके पास काला धन नहीं है।’ नोटबंदी का ममता द्वारा जोरदार विरोध किए जाने के बाद भी रामदेव ने कहा कि तृणमूल कांग्रेस प्रमुख वास्तव में नोटबंदी को लागू करने की प्रक्रिया के खिलाफ हैं।
अब सवाल उठता है कि लालू यादव जैसे कालेधन के सबसे बड़े जनक, यानी कालेधन के पापा, और नोटबंदी जैसे क्रन्तिकारी फैसले की सबसे बड़ी दुश्मन ममता बनर्जी बाबा रामदेव को भारत के धरोहर, इमानदार और प्रधानमंत्री पद के लायक कैसे लग सकते हैं। क्या बाबा रामदेव का DNA बदल रहा है?
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